YDMS चर्चा समूह

बिकाऊ मीडिया -व हमारा भविष्य

: : : क्या आप मानते हैं कि अपराध का महिमामंडन करते अश्लील, नकारात्मक 40 पृष्ठ के रद्दी समाचार; जिन्हे शीर्षक देख रद्दी में डाला जाता है। हमारी सोच, पठनीयता, चरित्र, चिंतन सहित भविष्य को नकारात्मकता देते हैं। फिर उसे केवल इसलिए लिया जाये, कि 40 पृष्ठ की रद्दी से क्रय मूल्य निकल आयेगा ? कभी इसका विचार किया है कि यह सब इस देश या हमारा अपना भविष्य रद्दी करता है? इसका एक ही विकल्प -सार्थक, सटीक, सुघड़, सुस्पष्ट व सकारात्मक राष्ट्रवादी मीडिया, YDMS, आइयें, इस के लिये संकल्प लें: शर्मनिरपेक्ष मैकालेवादी बिकाऊ मीडिया द्वारा समाज को भटकने से रोकें; जागते रहो, जगाते रहो।।: : नकारात्मक मीडिया के सकारात्मक विकल्प का सार्थक संकल्प - (विविध विषयों के 28 ब्लाग, 5 चेनल व अन्य सूत्र) की एक वैश्विक पहचान है। आप चाहें तो आप भी बन सकते हैं, इसके समर्थक, योगदानकर्ता, प्रचारक,Be a member -Supporter, contributor, promotional Team, युगदर्पण मीडिया समूह संपादक - तिलक.धन्यवाद YDMS. 9911111611: :

Wednesday, July 7, 2021

President Kovind administers oath of office and secrecy to members of Council of Ministers *मोदी मंत्रीमंडल 2 शपथग्रहण समारोह*

 President Kovind administers oath of office and secrecy to members of Council of Ministers *मोदी मंत्रीमंडल 2 शपथग्रहण समारोह*

👉🌟संसद/सरकार दर्पण👈

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*युदस नदि 7 जुलाई21:* मोदी मंत्रीमंडल 2, के विस्तार में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 15 मंत्रियों व 28 राज्य मंत्रियों को शपथ दिलाई। 

🙏In a cabinet Reshuffle of Modi 2 today, have support team of 43  

👉15 Cabinet Ministers👈 

1. Narayan Tatu Rane

2. Sarbananda Sonowal

3. Dr. Virendra Kumar

4. Jyotiraditya M Scindia

5. Ramchandra Prasad Singh

6. Ashwini Vaishnaw

7. Pashu Pati Kumar Paras

8. Kiren Rijiju

9. Raj Kumar Singh

10. Hardeep Singh Puri

11. Mansukh Mandaviya

12. Bhupender Yadav

13. Parshottam Rupala

14. G. Kishan Reddy

15. Anurag Singh Thakur 

👉28 Ministers of State👈 

1. Pankaj Choudhary

2. Anupriya Singh Patel

3. Dr. Satya Pal Singh Baghel

4. Rajeev Chandrasekhar

5. Shobha Karandlaje

6. Bhanu Pratap Singh Verma

7. Darshana Vikram Jardosh

8. Meenakshi Lekhi

9. Annpurna Devi

10. A. Narayanaswamy

11. Kaushal Kishore

12. Ajay Bhatt

13. B. L. Verma

14. Ajay Kumar

15. Chauhan Devusinh

16. Bhagwanth Khuba

17. Kapil Moreshwar Patil

18. Sushri Pratima Bhoumik

19. Dr. Subhas Sarkar

20. Dr. Bhagwat Kishanrao Karad

21. Dr. Rajkumar Ranjan Singh

22. Dr. Bharati Pravin Pawar

23. Bishweswar Tudu

24. Shantanu Thakur

25. Dr. Munjapara Mahendrabhai

26. John Barla

27. Dr. L. Murugan

28. Nisith Pramanik 

-तिलक रेलन वरिष्ठ पत्रकार मुख्य सम्पादक

आज शपथ ग्रहण में सहभागी, केन्द्र के सभी मंत्रियों को परमपिता परमेश्वर, भारत विश्वगुरु बनाने में अपनी भूमिका निर्वहन करने की शक्ति प्रदान करें। बधाई व शुभकामनाओं सहित भवदीय तिलक रेलन आज़ाद वरिष्ठ पत्रकार, -युगदर्पण ®2001 मीडिया समूह YDMS👑 

-तिलक रेलन वरिष्ठ पत्रकार मुख्य सम्पादक https://www.youtube.com/playlist?list=PL3G9LcooHZf0VakMCw1QoD_AfOeeKSpr9 

Tuesday, May 3, 2016

मनोज कुमार को दादा साहेब फाल्के पुरस्कार

मनोज कुमार को दादा साहेब फाल्के पुरस्कार 
मनोज कुमार को दादा साहेब फाल्के पुरस्कारन दि,03 मई (तिलक)। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने मंगलवार को बॉलीवुड अभिनेता मनोज कुमार को वर्ष 2015 के 47वें दादा साहेब फाल्के पुरस्कार से सम्मानित किया। वहीं अमिताभ बच्चन को फिल्म पीकू के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेता और तनु वेड्स मनु रिटन्र्स में श्रेष्ठ अभिनय के लिए कंगना राणावत को सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार दिया गया। 
ज्ञात हो, मनोज कुमार यह नाम सुनते ही देश भक्ति का संचार होने लगता है। जब शहीद, उपकार, पूरब  पश्चिम, क्रांति जैसी धारा की फिल्में युवाओं को दिशा दे रही थी, तत्कालीन व्यवस्था ने उनका उचित सम्मान नहीं किया, किन्तु आज जब वे इनसब से किनारा कर गए किन्तु सत्ता परिवर्तन हो गया; तब उनका भी समय का सूर्योदय हुआ, विलम्बित किन्तु उचित सम्मान प्राप्त हुआ। 
राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने मंगलवार को यहां विज्ञान भवन में आयोजित एक समारोह में 78 वर्षीय मनोज कुमार को दादा साहेब फाल्के पुरस्कार से सम्मानित किया। यह पुरस्कार भारत सरकार की ओर से फिल्म जगत में महत्वपूर्ण योगदान के लिए दिया जाता है। इसमें स्वर्ण कमल, एक शाल और 10 लाख रुपये की नकद राश‍ि शामिल है। इस अवसर पर अभिनेता मनोज कुमार ने राष्ट्रपति को सांई बाबा की प्रतिमा भेंट की। 
इसके अतिरिक्त 'बाहुबली' को सर्वश्रेष्ठ फीचर फिल्म के पुरस्कार से सम्मानित किया गया। 
फिल्म के निर्देशक एसएस राजमोली ने राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी से सम्मान प्राप्त किया। वहीं बाजीराव मस्तानी के लिए संजय लीला भंसाली को सर्वश्रेष्ठ निर्देशक पुरस्कार दिया गया। तन्वी आजमी को बाजीराव मस्तानी में सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेत्री के लिए सम्मानित किया गया। सर्वश्रेष्ठ लोकप्रिय फिल्म के लिए बजरंगी भाईजान के निर्देशक कबीर खान को पुरस्कार दिया गया। इसके अतिरिक्त विशाल भारद्वाज को सर्वश्रेष्ठ पटकथा के लिए राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार दिया गया। 
http://rachnaakaarkaa.blogspot.in/2016/05/blog-post.html 
जीवन का अर्थ साँस लेना मात्र नहीं, जीवन के महत्त्व व उद्देश्य को समझ उसे सार्थक करना है। 

Friday, April 22, 2016

मुजफ्फरनगर दंगा: शर्मनिरपेक्ष इन बड़े पत्रकारों पर कार्रवाई की संस्तुति

लखनऊ। मुजफ्फरनगर दंगों पर एक टीवी चैनल द्वारा स्टिंग (मर्म छेदन अभियान) कराए जाने के मामले ने तूल पकड़ लिया है। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा इस मर्म छेदन अभियान (मछेअ) की हुई जांच रपट आज सदन में प्रस्तुत की गई। सतीश निगम द्वारा प्रस्तुत की गई इस रपट में इस टीवी चैनल के कई पत्रकारों के विरुद्ध कार्रवाई की संस्तुति की गई है। 
ध्यान रहे कि उक्त स्टिंग (मछेअ) में सपा नेता आजम खां पर दंगा भड़काने का आरोप लगाया गया था। इस मछेअ (स्टिंग) के प्रसारित होने के बाद इस पर सतिश निगम की अध्यक्षता में एक जांच कमेटी बैठाई गई थी। 
350 पृष्ठों की जांच रपट में निम्नलिखित पत्रकारों पर कार्यवाई करने की अनुशंसा की गई है- सुप्रिया प्रसाद, दीपक शर्मा, अरूण सिंह, हरीश शर्मा, राहुल कंवल और पुण्य प्रसुन वाजपेयी। अंतत: इन राष्ट्रद्रोही पत्रकारों का ऊँट पहाड़ के नीचे आ ही गया। मुज़फ्फरनगर के शांत जीवन से ठिठोली करने के कारण इन पर भादंसं की निम्न धाराओं में कार्रवाई की अनुशंसा की गई है- 153A, 295, 200, 463, 464, 469, 47 
लो आ गए अच्छे दिन, बड़ी चाह थी इन्हें 'अच्छे दिन' की, मनोकामना पूर्ण हुई। 
हास्य परिहास तो जीवन में आवश्यक है किन्तु परिहास में भी ऐसी ठिठौली !
देश, समाज और जीवन से ठिठोली नहीं, और ठिठोली का नाम हास्य नहीं।।
http://thitholeedarpan.blogspot.in/2016/04/blog-post_22.html 

Thursday, April 21, 2016

वन्देमातरम, लातूर का सत्य

वन्देमातरम, लातूर का सत्य 
जिनके शासन में भ्रष्टाचार ही राशन था जिनकी निष्कृयता से महाराष्ट्र में सूखे की स्थिति बनी वो तथा उनके कुछ कव्वे बार-बार पूछ रहे थे कि महाराष्ट्र में सूखे से निपटने के लिए राज्य और केन्द्र सरकार क्या कर रही है?? यह समाचार सर्वसाधारण को उन्हीं कव्वों की काँव काँव तथा भ्रमजाल से बचाने के लिए है... 18 माह का काम वर्तमान शासन में, मात्र नौ दिनों में पूरा करके लातूर में पानी पहुँचाया गया... जो लोग साठ वर्ष (लोकतंत्र मुखौटे में राजतंत्र) के कूड़े की तुलना दो वर्ष के समर्पित काम से करते हैं, उनसे बड़ा निज -शत्रु कोई नहीं... 
युगदर्पण तथा युदमीस (YDMS) उन सब का आवाहन करता है, जो 6 दशक इनका शिकार बने। 
जनता को भ्रमित करने और हमारे सामाजिक सांस्कृतिक ढांचे को नष्ट करने वाले, नकारात्मक भांड मीडिया का एकमात्र परिष्कृत सुघड़ सकारात्मक विकल्प है - युगदर्पण, दूरदर्पण, युगदर्पण मीडिया समूह YDMS 

और हाँ!!! पूछिए उनसे कि जिस देश से उन्हें सब कुछ मिला, देश का विकास, जनता के सौभाग्य के शत्रु क्यों बने हैं वो ????  क्या आप मेरी बात से सहमत हैं  हाँ या नहीं लिखें            हाँ Yes या नहीं No
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http://thitholeedarpan.blogspot.in/2016/04/blog-post.html 

Thursday, March 24, 2016

होली का पर्व

होली का पर्व -कैसे मनी, देश -विदेश में होली ? भर के लाए, पूरी झोली - युगदर्पण का जीवन मेला दर्पण
स्वयं भी पूरा आनंद लेते इसे साँझा कर सभी तक पहुंचाए; क्योकि होली सभी से आनंद साँझा करने का पर्व है।

https://www.youtube.com/watch?v=iik3Efd9x44&list=PLE26119A2723D491D&index=106 भूले नहीं, पूरा copy paste प्रतिलिपि उद्धृत अवश्य करें 

Saturday, March 12, 2016

A Festival by, The Art of Living International Centre

A Festival by, The Art of Living International Centre .world culture festival, world cultural festival, sri sri, ravi shankar, art of living foundation, sri sri ravi shankar, sri sri world culture festival, ngt fine sri sri, sri sri event yamuna bank, yamuna floodplain world culture festival, world culture festival stage, world culture festival photos, art of living, art of living 35 years, wcf photos, sri sri photos, india news, latest newsworld culture festival, sri sri ravi shankar, world cultural festival, sri sri, ravi shankar, art of living foundation, sri sri ravi shankar, sri sri world culture festival, ngt fine sri sri, sri sri event yamuna bank, yamuna floodplain world culture festival, world culture festival stage, world culture festival photos, art of living, art of living 35 years, wcf photos, sri sri photos, india news, latest news

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श्री श्री रवि शंकर जी के दिल्ली में 3 दिवसीय सांस्कृतिक आयोजन 'जीवन की कला' का एक विहंगम दृश्य
भव्य समारोह 35 दर्शक देश विदेश के अतिथि शीर्ष कलाकार, क्या इनकी सुरक्षा करना अपराध है ? या उचित 

Friday, December 11, 2015

महान राष्ट्रकवि सुब्रमण्य भारती, 133 वीं जयन्ती

Image result for सुब्रमण्य भारतीमहान राष्ट्रकवि सुब्रमण्य भारती, 133 वीं जयन्ती 
सुब्रमण्य भारती, சுப்பிரமணிய பாரதி ரஷ்ற்றகவி, 
जन्म दिवस 11 दिसं 2015  न दि 
बात चाहे साहित्य की हो या राजनीति की, गद्य की हो या पद्य की, तमिल की हो या अंग्रेजी की, सुब्रमण्य भारती का कोई सानी दृष्टी में नहीं आता। भारत के महान कवियों में सुविख्यात भारती ने मात्र साहित्य के क्षेत्र में ही अपना बहुमूल्य योगदान नहीं दिया, बल्कि स्वतंत्रता संग्राम में भी उन्होंने अपना परचम लहराया। महाकवि भारती अथवा महाकवि भरतियार के नाम से भी जाना जाता है। उनकी कविताओं में राष्ट्रभक्ति कूट-कूट कर भरी हुई है। वह एक कवि होने के साथ-साथ भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में जुड़े सेनानी, समाज सुधारकपत्रकार तथा उत्तर भारत व दक्षिण भारत के मध्य एकता के सेतु समान थे। जिसने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी, बाल गंगाधर तिलक, श्री अरविंद और वीवीएस अय्यर जैसी शीर्ष नायकों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर भारत को दासत्व की बेड़ियों से बाहर निकालने का प्रयास किया। 
Image result for सुब्रमण्य भारतीआधुनिक तमिल साहित्य का जनक और केंद्र बिंदु, सुब्रमण्य भारती गद्य और पद्य लेखन में काफी परिपक्व थे। उन्होंने कई लघु कथाएं भी लिखी थीं। उन्होंने तमिल कविता में एक नई शैली 'पुथुक्कविताई' अर्थात आधुनिक कविता की रचना की थी। तमिल सबसे मधुर भाषा करार देने वाले भारती ने, एक कविता लिखी थी जिसमें उन्होंने लिखा था कि आज तक उन्होंने तमिल से मधुर भाषा नहीं देखी। भारती तमिल के साथ−साथ तेलुगु, बंगाली, हिन्दी, संस्कृत, फ्रेंच और अंग्रेजी में भी निपुण थे। 
तमिलनाडु के 'एट्टायापुरम' गांव में 11 दिसंबर 1882 को तमिल ब्राह्मण परिवार में जन्मे सुब्रमण्य की प्राथमिक शिक्षा गांव में ही हुई। जब वह मात्र 11 वर्ष के थे, तो उन्हें एक कवि सम्मेलन में बुलाया गया और जहाँ उन्होंने कविता पाठ से प्रभावित किया। मेधावी छात्र होने के नाते वहां के राजा ने उन्हें ‘भारती’ की उपाधि दी। 1898 में वे उच्च शिक्षा के लिये बनारस चले गये। आगामी चार वर्ष उनके जीवन में ‘‘खोज’’ के वर्ष थे। बनारस प्रवास की अवधि में उनका हिन्दू अध्यात्म व राष्ट्रप्रेम से साक्षात्कार हुआ। सन् 1900 तक वे भारत के राष्ट्रीय आन्दोलन में पूरी तरह जुड़ चुके थे और भगिनी निवेदिताअरविंद और वंदे मातरम् के गीत ने भारती के भीतर आजादी की भावना को और पल्लवित किया। 
जहां तक सुब्रमण्य के पत्रकारिता जीवन की बात है, तो वह भी अपने आप में काफी गौरवशाली रहा। भारती ही देश के एक ऐसे पत्रकार थे, जिन्होंने पहली बार अपने समाचारपत्र में प्रहसन और राजनीतिक कार्टूनों को स्थान दिया।भारती ने स्वतंत्रता संग्राम में बहुत ही  महत्वपूर्ण योगदान दिया था और कई बार जेल यात्रा भी की थी। भारती जब पांडिचेरी में थे तो उन्होंने श्री अरविंद के साथ मिलकर काम किया था और वे दोनों बड़े अच्छे मित्र थे। जीवन के हर क्षेत्र में अपना महत्व रखने वाले भारती का देहांत, बड़े ही मार्मिक ढंग से हुआ। वास्तव में, जिस हाथी को वह प्रति दिन चारा खिलाया करते थे, उसी ने उन्हें कुचल दिया। जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गए और इस घटना के कुछ ही दिनों बाद 11 सितंबर 1921 को उनका देहांत हो गया। 
प्रमुख रचनाएँ  ‘स्वदेश गीतांगल’ (1908) तथा ‘जन्मभूमि’ (1909) उनके देशभिक्तपूर्ण काव्य माने जाते हैं, जिनमें राष्ट्रप्रेम् और ब्रिटिश साम्राज्य के प्रति ललकार के भाव स्पष्ट हैं। एक कविता में भारती ने ‘भारत का जाप करो’ की राह दी है।
तुम स्वयं ज्योति हो मां,
शौर्य स्वरूपिणी हो तुम मां,
दुःख और कपट की संहारिका हो मां,
तुम्हारी अनुकम्पा का प्रार्थी हूं मैं मां।
(डॉ॰ भारती की कविता ‘मुक्ति का आह्वान’ से)
‘एक होने में जीवन है। यदि हमारे बीच ऐक्य भाव नहीं रहा, तो सबकी अवनति है। इसमें हम सबका सम्यक उद्घार होना चाहिए। उक्त ज्ञान को प्राप्त करने के बाद हमें और क्या चाहिए?’
हम दासत्व रूपी धन्धे की शरण में प़डकर, बीते हुए दिनों के लिए मन में लिज्जत होकर, द्वंद्वों एवं निंदाओं से निवृत्त होने के लिए; इस गुलामी की स्थिति को (थू कहकर) धिक्कारने के लिए ‘वंदे मातरम्’ कहेंगे। 
काश ! तमिल अपने प्रेरणा पुञ्ज से प्रकाशित हो कर, अपनी ऊर्जा को जागृत कर, 
जड़ों को सुदृढ़ करे। उस राष्ट्र भक्त की जयंती का यही सच्चा उपहार होगा। युगदर्पण